उत्तराखंड: निजी मेडिकल संस्थानों ने फीस वृद्धि के निर्णय को लिया वापिस

देहरादून। उत्तराखंड में निजी मेडिकल कालेजों द्वारा की गयी फीस वृद्धि के खिलाफ चल रहे विरोध-प्रदर्शनों के बीच निजी मेडिकल संस्थानों ने फीस वृद्धि के निर्णय को वापिस ले लिया है। इन संस्थानों द्वारा यह निर्णय मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत से हुई वार्ता के बाद लिया गया।
शुक्रवार को मुख्यमंत्री आवास पर मीडिया से अनौपचारिक वार्ता करते हुए मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कहा कि प्रदेश के निजी मेडिकल संस्थानों से हुई वार्ता के बाद उनके द्वारा फीस वृद्धि का निर्णय वापस ले लिया गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि निजी मेडिकल संस्थानों के प्रतिनिधियों द्वारा पूर्व में उनसे भेंट कर अवगत कराया था कि उन्हें संस्थानों की अवस्थापना सुविधाओं आदि के विकास के लिये बड़ी धनराशि व्यय करनी पडती है। इसके लिये उनके द्वारा मेडिकल छात्रों की फीस में वृद्धि का अनुरोध किया गया था। मुख्यमंत्री ने कहा कि मेडिकल संस्थानों द्वारा फीस में कई गुना वृद्धि किये जाने तथा कई अविभावकों द्वारा भी उन्हें फीस वृद्धि के संबंध में अवगत कराये जाने पर मेडिकल छात्रों के हित में संस्थानों को फीस वृद्धि वापस लेने को निर्देशित किया गया। जिस पर उनके द्वारा फीस वृद्धि वापस लेने का निर्णय लिया गया है। मुख्यमंत्री ने प्रदेश में मेडिकल संस्थानों द्वारा फीस वृद्धि वापस लिया जाना मेडिकल छात्रों के हित में एक महत्वपूर्ण फैसला बताया। उन्होंने कहा कि इससे मेडिकल के छात्रों को फायदा होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में किसी को भी मनमानी नही करने दी जायेगी यदि कोई मनमानी करेगा तो उसके विरूद्ध कड़ी कार्यवाही की जायेगी। उन्होंने कहा कि मेडिकल काॅलेज के छात्रों की सुविधा का पूरा ध्यान रखा जायेगा। एनसीईआरटी की पुस्तकों को प्रदेश के विद्यालयों में लागू करने के निर्णय के संबंध में निजी स्कूल प्रबंधकों के असंतोष के संबंध में मुख्यमंत्री श्री त्रिवेंद्र ने कहा कि इस संबंध में जायज बातों को सुना जायेगा।

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