देहरादून (गढवाल का विकास)। अतिथि शिक्षको के लिए अच्छी खबर है। सरकार ने वर्ष 2018.19 में चुने गए 5 हजार 34 अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति के आदेश दे दिए है। इन शिक्षक की नियुक्ति के बाद रिक्त पदों पर इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में केस करने वाले और वर्ष 2015 में नियुक्त अतिथि शिक्षकों को मौका मिलेगा।
सरकारी माध्यमिक स्कूलों में अतिथि शिक्षकों की ज्वाइनिंग का रास्ता खुल गया है। शिक्षा सचिव आर. मीनाक्षीसुंदरम ने अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति के आदेश को जारी कर दिया है। बताया जाता है कि शिक्षा सचिव ने शिक्षा निदेशक आरके कुंवर को सुप्रीम कोर्ट के 14 जनवरी के आदेश के अनुसार नियुक्ति प्रक्रिया शुरू करने को कहा है। सुप्रीम कोर्ट ने शिक्षा विभाग को स्थायी नियुक्तियां होने तक अतिथि शिक्षक व्यवस्था को बहाल रखने की अनुमति दी है। विदित हो कि वर्ष 2018 में हाईकोर्ट के फैसले के बाद कैबिनेट ने 5 हजार 34 अतिथि शिक्षक भर्ती करने का निर्णय किया था। चार जनवरी 2019 को सुप्रीम कोर्ट ने प्रक्रिया को स्थगित कर दिया था। सूत्रों के अनुसार सुप्रीम कोर्ट के फैसले से शिक्षा विभाग को हर साल चयन नया चयन करने की प्रक्रिया से भी राहत मिली है। स्थायी शिक्षकों की भर्ती होने तक अतिथि शिक्षक बने रहेंगे।
सचिव ने यह भी किया स्पष्ट
सचिव ने आदेश में स्पष्ट कहा कहा कि अतिथि शिक्षक इस नियुक्ति के आधार पर भविष्य में स्थायी नौकरी के लिए किसी भी प्रकार का दावा नहीं कर सकेंगे। यह व्यवस्था पूरी तरह से अस्थायी ही रहेगी। जैसे जैसे नियमित एलटी.प्रवक्ता की नियुक्तियां होती जाएंगीए अतिथि शिक्षकों के पद स्वतरू समाप्त होते जाएंगे।